बनारस न्यूज डेस्क: वाराणसी के उदय प्रताप कॉलेज में मस्जिद को लेकर चल रहे विवाद के बीच गुरुवार को पुलिस ने बाहरी लोगों के कॉलेज परिसर में प्रवेश पर रोक लगा दी। अब केवल वैध आईडी कार्ड वाले छात्रों को ही परिसर में जाने की अनुमति दी जा रही है। इससे पहले, कुछ छात्र जबरन परिसर में घुसने की कोशिश कर रहे थे, जिसके बाद मुख्य द्वार बंद कर दिया गया। इस घटना में पुलिस और छात्रों के बीच झड़प हुई और सात छात्रों को हिरासत में लिया गया।
यह कदम मंगलवार को हुई घटना के बाद उठाया गया, जब मस्जिद के पास नमाज के दौरान कुछ छात्रों ने हनुमान चालीसा का पाठ किया था। पुलिस ने गेट पर सुरक्षा बढ़ा दी है और आईडी चेक कर प्रवेश सुनिश्चित किया जा रहा है। छात्र नेता विवेकानंद सिंह ने बताया कि अतिरिक्त सतर्कता के तहत गुरुवार को नमाज नहीं हुई, लेकिन शुक्रवार को जुमे की नमाज के दौरान विशेष प्रबंध किए जाएंगे।
इस विवाद के बीच कॉलेज के छात्रों ने "छात्र अदालत" का गठन किया है। उन्होंने उत्तर प्रदेश वक्फ बोर्ड को 11 बिंदुओं पर आधारित एक पत्र भेजा है। इसमें मस्जिद की स्थिति और स्वामित्व से जुड़े सवाल पूछे गए हैं और 15 दिनों के भीतर जवाब की मांग की गई है।
दूसरी ओर, अंजुमन इंतजामिया मस्जिद समिति के संयुक्त सचिव मोहम्मद यासीन ने मस्जिद की स्थिति स्पष्ट करने के लिए उत्तर प्रदेश केंद्रीय वक्फ बोर्ड को पत्र लिखा है। यासीन ने कहा कि बोर्ड ने 2018 में मस्जिद को वक्फ संपत्ति घोषित करने वाला नोटिस 2021 में रद्द कर दिया था, जिससे वर्तमान विवाद निराधार है।
मस्जिद में बाहरी लोगों की मौजूदगी को लेकर छात्रों में असंतोष है। छात्रों का कहना है कि बाहरी लोग मस्जिद में प्रार्थना करने के बहाने कॉलेज में प्रवेश करते हैं, जिससे परिसर की सुरक्षा पर सवाल उठते हैं।
एक स्थानीय अधिकारी ने बताया कि कॉलेज प्रशासन ने सुरक्षा की मांग की थी। इसके बाद पुलिस ने परिसर में कड़ी निगरानी शुरू कर दी है ताकि ऐसी घटनाएं दोबारा न हो सकें।
पुलिस और प्रशासन की कोशिश है कि विवाद को शांतिपूर्ण तरीके से सुलझाया जाए। कॉलेज प्रशासन ने स्थिति पर नियंत्रण बनाए रखने के लिए सभी छात्रों से संयम बरतने की अपील की है।