बनारस न्यूज डेस्क: वाराणसी के अस्सी घाट पर स्थित बौराहा बाबा आश्रम में इस बार गुरु पूर्णिमा का पर्व बेहद श्रद्धा और उत्साह के साथ मनाया गया। इस आयोजन की खास बात यह रही कि पिछले तीन सालों से यह पर्व यहां भक्तों द्वारा खुद के प्रयास से मनाया जा रहा है। इस बार देश ही नहीं बल्कि विदेशों से भी श्रद्धालु बाबा के दर्शन और आशीर्वाद पाने के लिए यहां पहुंचे।
आश्रम परिसर में माहौल पूरी तरह आध्यात्मिक और सांस्कृतिक रंग में डूबा नजर आया। गीत-संगीत और सांस्कृतिक कार्यक्रमों ने सभी को भावविभोर कर दिया। दोपहर 12 बजे से रात 8 बजे तक विशाल भंडारे का आयोजन किया गया, जिसमें करीब 3000 भक्तों ने प्रसाद ग्रहण किया। आयोजन के दौरान भक्तों की सेवा और व्यवस्था बेहद अनुशासित और भावनात्मक रूप से जुड़ी हुई नजर आई।
बाबा के दर्शन के लिए भक्तों की लंबी कतारें सुबह से ही लगनी शुरू हो गई थीं। हर कोई बाबा को फूलों की माला चढ़ाकर, आरती कर, आशीर्वाद लेना चाहता था। जब बाबा घाट पर पहुंचे तो भक्तों ने उन पर पुष्पवर्षा की और उन्हें सम्मानपूर्वक पालकी में बैठाकर आश्रम तक ले गए। रास्ते भर ‘हर हर महादेव’ के जयकारों से वातावरण गूंजता रहा।
श्रद्धालु दीपक सिंह राजवीर ने बताया कि वे हर साल की तरह इस बार भी पूरे परिवार के साथ अपने गुरुदेव के दर्शन और पूजन के लिए यहां आए हैं। उनका कहना है कि गुरु पूर्णिमा सिर्फ एक पर्व नहीं, बल्कि आत्मिक जुड़ाव और कृतज्ञता का भाव है, जो गुरु के चरणों में आकर ही पूरी तरह व्यक्त होता है।