बनारस न्यूज डेस्क: साल 2023 में आईआईटी (बीएचयू) की 20 साल की छात्रा के साथ हुए गैंगरेप मामले में एक बड़ा मोड़ आया है। हाईकोर्ट ने इस मामले के तीसरे आरोपी सक्ष्म पटेल को जमानत दे दी है। इससे पहले हाईकोर्ट ने इस केस के दो अन्य आरोपियों कुणाल पांडे और अभिषेक चौहान को भी जमानत पर रिहा किया था।
सरकारी वकील मनोज गुप्ता ने बताया कि हाईकोर्ट के इस फैसले के बाद पीड़िता ने वाराणसी छोड़ने का फैसला किया है। वकील के मुताबिक, लगातार आरोपियों को मिल रही जमानत और धीमी न्याय प्रक्रिया से पीड़िता मानसिक दबाव में है।
पीड़िता ने कोर्ट से गुहार लगाई थी कि उसे वर्चुअली सुनवाई की अनुमति दी जाए। उसका कहना है कि बार-बार कोर्ट आने से उसकी पढ़ाई पर असर पड़ रहा है और आरोपियों का सामना करना उसके लिए भावनात्मक रूप से काफी कठिन हो रहा है। हालांकि, कोर्ट ने इस याचिका पर अभी कोई फैसला नहीं सुनाया है।
सरकारी वकील का कहना है कि इस मामले में सुनवाई की गति काफी धीमी है, जिससे पीड़िता परेशान है। उसे बार-बार कोर्ट आना पड़ता है, जो उसके लिए मानसिक रूप से तकलीफदेह है। ऐसे में पीड़िता के भविष्य और सुरक्षा को लेकर सवाल उठ रहे हैं।
यह घटना 1 नवंबर 2023 को हुई थी, जब आईआईटी छात्रा अपने दोस्त के साथ कैंपस में टहल रही थी। तभी बाइक पर आए तीन युवकों ने उन्हें रोका और बंदूक की नोक पर छात्रा के कपड़े उतरवाकर उसका वीडियो बनाया। आरोप है कि उन्होंने इस दौरान अश्लील हरकतें कीं और गैंगरेप को अंजाम दिया।
इस घटना के सामने आने के बाद बीएचयू और वाराणसी के छात्र-छात्राओं में आक्रोश फैल गया था। छात्र-छात्राओं ने महिला सुरक्षा को लेकर सड़कों पर जमकर प्रदर्शन किया था। घटना ने कैंपस और शहर की सुरक्षा व्यवस्था पर गंभीर सवाल खड़े कर दिए थे।
करीब दो महीने बाद पुलिस ने तीनों आरोपियों को गिरफ्तार किया था। आरोप है कि ये तीनों आरोपी बीजेपी आईटी सेल से जुड़े हुए थे। हालांकि, इस मामले में आरोपियों को जमानत मिलने से न्याय प्रक्रिया और महिला सुरक्षा पर सवाल उठने लगे हैं।